नाना पाटेकर डायलॉग-Nana Patekar Dialogue

नाना पाटेकर -Nana Patekar हिंदी फिल्मों के मशहूर अभिनेता हैं ,लाखो लोग उनके फ़िल्मी संवादों के दीवाने हैं विशेषतौर से उनके क्रांतिवीर , यशवंत , तिरंगा और परिंदा जैसी फिल्मो के  डायलॉग बहुत ज्यादा प्रसिद्ध हैं .नाना पाटेकर को कई बार राष्‍ट्रीय फिल्‍म पुरस्‍कार और Filmfare Award For Best Actor से सम्‍मानित किया जा चुका है. उन्‍हें पद्मश्री सम्‍मान भी मिल चुका है.

Nana Patekar Dialogue

नाना पाटेकर डायलॉग-Nana Patekar Best Dialogue

1.कुत्ते की तरह जीने की आदत पड़ी हैं सबको .(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

2.आ गये मेरी मौत का तमाशा देखने !(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

3. साले अपने खुद के देश में एक सुई नहीं बना सकते... और हमारा देश तोड़ने का सपना देखते हैं .(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

4.ये मुसलमान का खून ये हिन्दू का खून ....बता इसमें मुसलमान का कौनसा और हिन्दू का कौनसा, बता !(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

5.ऊपर वाला भी ऊपर से देखता होगा तो उसे शर्म आती होगी ...सोचता होगा मेने सबसे ख़ूबसूरत चीज बनाई थी ,इंसान...नीचे देखा तो सब कीड़े बन गए...कीड़े !(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

6.हम भले ही ऊपर वाले को अलग अलग नाम से पुकारते हैं ...लेकिंन हमारा धर्म एक हैं मजहब एक हैं ...इंसानियत .(क्रांतिवीर-1994)

7. तुम्हारे नापाक कदम आगे मत बढाओ ... तोड़कर तुम्हारे गले में पहना देंगे .(नाना पाटेकर,क्रांतिवीर-1994)

8. सच्चे पुलिस की या तो मौत होती हैं ....या सस्पेंड किया जाता हैं...इस वर्दी ने मेरे हाथ बाँध रखे हैं ,वर्ना एक एक का गला काट देता मैं ... (नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

9.अपना तो उसूल हैं ...पहले लात ,फिर बात ,उसके बाद मुलाक़ात .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

10.ये तो लाल मिर्च हैं तीखी तीखी ...हाथ लगाओ तो हाथ जले ...मुंह लगाओ तो मुंह जले ...दिल लगाओ तो दिल जले .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

11. मराठा मरता हैं या मारता हैं .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

12.तुझे ऐसी मौत मारूंगा... कि तेरी पापी आत्मा अगले सात जन्म तक , किसी दुसरे शरीर में घुसने से पहले काँप उठेगी .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

13.कौनसा कानून ,कैसा कानून ...ये कानून तो चंद मुजरिमों की रखैल बना बैठा हैं .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

14.पन्द्रह सौ की नौकरी करने वाला.... एक दिन तुझे डेढ़ सौ का कफन पहनायेगा .(नाना पाटेकर,तिरंगा -1992)

15.गिरो सालो गिरो,लेकिन गिरो तो उस झरने की तरह ...जो पर्वत की ऊंचाई से गिरकर भी अपनी सुंदरता खोने नहीं देता ...जमीन की तह से मिलके भी अपने अस्तित्व को नष्ट नहीं होने देता .(नाना पाटेकर,यशवंत -1996)

16. एक मच्छर साला आदमी को हिंजड़ा बना देता हैं. (नाना पाटेकर,यशवंत -1996)

17. सौ में से अस्सी बेईमान ..फिर भी मेरा देश महान .(नाना पाटेकर,यशवंत -1996)

18.जान मत माँगना ...इसकी बाजार में कोई कीमत नहीं .(नाना पाटेकर,गुलाम -ए मुस्तफा  -1997)

19.बेहतर हैं तू अपना इरादा बदल दें ...नहीं तो मैं तेरा नक्शा बदल दूंगा (नाना पाटेकर,गुलाम -ए मुस्तफा  -1997)

20. एक मन्दिर का दीया भी तेरे को तवायफ के कोठे की लाल बत्ती लगता हैं .(नाना पाटेकर,गुलाम -ए मुस्तफा  -1997)

21. मैं तो लावारिस था,लेकिन मेरे मरने के बाद मेरी लाश लावारिस नहीं होगी .(नाना पाटेकर,गुलाम -ए मुस्तफा  -1997)

22. चलो रो लो ...क्यूँ कि आज के बाद इस घर में कोई रोयेगा नहीं (नाना पाटेकर,गुलाम -ए मुस्तफा  -1997)

23. धंधे में कोई किसी का भाई नहीं ,कोई किसी का बेटा नहीं (नाना पाटेकर,परिन्दा -1989)

24. ये दुःख नाम की बीमारी का इलाज किसी डॉक्टर के पास भी नहीं हैं ...इसका इलाज खुद ढूंढना पड़ता हैं ..दुःख को भूलना पड़ता हैं .(नाना पाटेकर,परिन्दा -1989)

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1 Comments
  • Yogesh s suryawanshi
    Yogesh s suryawanshi 18 अगस्त 2018 को 9:25 am बजे

    nana patekar is my its real deahabhakat and nana i am bigest fan with you nana kay tumhi amhala support kartal ka plzz

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